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₹10 लाख की सब्सिडी पाएं और फोड़ें बाजार में तहलका सिर्फ |PM Micro Food Processing Enterprises Scheme (PMFME) 2025

PM Micro Food Processing Enterprises Scheme : भारत सरकार ने देश के छोटे खाद्य प्रसंस्करण उद्यमों को सशक्त बनाने और उन्हें औपचारिक व्यवस्था के तहत लाने के उद्देश्य से PM Micro Food Processing Enterprises Scheme (PMFME) शुरू की है। इस योजना का लक्ष्य असंगठित माइक्रो खाद्य प्रसंस्करण क्षेत्र को आर्थिक, तकनीकी और व्यवसायिक मदद देकर प्रतिस्पर्धी बनाना और रोजगार सृजन करना है। यह लेख PM Micro Food Processing Enterprises Scheme PMFME योजना के बारे में पूरी जानकारी देने के साथ-साथ आपको इसकी विशेषताओं, लाभों, पात्रता, आवेदन प्रक्रिया और सफलताओं के बारे में बताता है।

Contents

PM Micro Food Processing Enterprises Scheme PMFME क्या है?

PMFME योजना का पूरा नाम है प्रधानमंत्री फॉर्मलाइजेशन ऑफ माइक्रो फूड प्रोसेसिंग एंटरप्राइजेज स्कीम। यह योजना केंद्र सरकार और राज्यों के संयुक्त प्रयास से खाद्य प्रसंस्करण उद्योग के तहत छोटे और माइक्रो स्तर के खाद्य उद्यमियों को आर्थिक और तकनीकी सहायता प्रदान करती है।

  • यह योजना 2020-21 से 2024-25 तक पांच वर्षों के लिए चलाई जा रही है।
  • इसका बजट लगभग ₹10,000 करोड़ निर्धारित किया गया है।
  • योजना का मुख्य उद्देश्य असंगठित खाद्य प्रसंस्करण उद्योग को औपचारिकता के दायरे में लाना और उनकी क्षमता को बढ़ाना है।

PMFME योजना के प्रमुख उद्देश्य |PM Micro Food Processing Enterprises Scheme

  1. माइक्रो खाद्य प्रसंस्करण उद्यमों का औपचारिककरण: योजना के जरिए 25 लाख से अधिक असंगठित खाद्य प्रसंस्करण इकाइयों का एकीकृत और प्रभावी विकास सुनिश्चित किया जाएगा।
  2. वित्तीय सहायता और सब्सिडी: उद्यमियों को उनके परियोजना लागत का 35% तक क्रेडिट लिंक्ड कैपिटल सब्सिडी प्रदान की जाएगी, जिसकी अधिकतम सीमा ₹10 लाख प्रति इकाई है।
  3. तकनीकी कौशल और प्रशिक्षण: उद्यमियों को आधुनिक तकनीकों और व्यवसाय प्रबंधन में प्रशिक्षित किया जाएगा जिससे उनकी उत्पादकता और गुणवत्ता में सुधार हो सके।
  4. ब्रांडिंग और मार्केटिंग: उत्पादों की ब्रांडिंग, पैकेजिंग और विपणन को बेहतर बनाकर बाजार में उनकी पहुंच बढ़ाई जाएगी।
  5. इन्फ्रास्ट्रक्चर विकास: साझा प्रसंस्करण इकाइयों, भंडारण केंद्रों, पैकेजिंग यूनिट्स आदि के निर्माण के लिए सहायता प्रदान की जाएगी।
  6. रोजगार सृजन: खाद्य प्रसंस्करण उद्योग से जुड़ी नई नौकरियों का सृजन होगा, खासकर ग्रामीण और अर्ध-शहरी क्षेत्रों में।

PM Micro Food Processing Enterprises Scheme (PMFME) की मुख्य विशेषताएं

  • वन डिस्ट्रिक्ट वन प्रोडक्ट (ODOP) अप्रोच: इस योजना में प्रत्येक जिले की खास खाद्य वस्तु पर जोर दिया जाता है जिससे उत्पादन, खरीद, प्रसंस्करण और विपणन निष्पक्ष तरीके से हो सके।
  • सीधी वित्तीय सहायता: पात्र लाभार्थियों को क्रेडिट लिंक्ड सब्सिडी के रूप में वित्तीय मदद दी जाती है।
  • समूह आधारित समर्थन: SHGs, FPOs, तथा सहकारी समितियों को सामूहिक रूप से सहायता दी जाती है।
  • प्रशिक्षण और क्षमता विकास: उद्यमियों को गुणवत्ता नियंत्रण, खाद्य सुरक्षा, व्यवसाय प्रबंधन, और बाजार की जानकारी प्रदान की जाती है।
  • डिजिटल पंजीकरण एवं मॉनिटरिंग: डिजिटल माध्यम से आवेदनों को स्वीकृति और मॉनिटरिंग की जाती है ताकि पारदर्शिता बनी रहे।

PM Micro Food Processing Enterprises Scheme| योजना से मिलने वाले लाभ

  • आर्थिक सहायता के साथ उद्यम सशक्तीकरण: योजना के तहत मिलने वाली सब्सिडी उद्यमों को उपकरण उन्नयन, फैक्ट्री सेटअप, पैकेजिंग मशीनरी, और अन्य आवश्यक संसाधनों खरीदने में मदद करेगी।
  • तकनीकी और बिजनेस ज्ञान: व्यवसाय के प्रबंधन, वित्तीय योजना और बाजार की रणनीतियों यानी मार्केटिंग में प्रशिक्षण लेने से उद्यम अधिक प्रतिस्पर्धी होंगे।
  • साझा संसाधनों का लाभ: गोदाम, पैकिंग मशीन, प्रॉसेसिंग यूनिट जैसे संसाधनों का साझा उपयोग होगा जो लागत कम करेगा।
  • रोजगार और आजीविका: योजना के लागू होने से ग्रामीण क्षेत्रों में रोजगार के अवसर बढ़ेंगे और लोगों की आय में सुधार होगा।
  • बाजार तक पहुंच: ब्रांडिंग और मार्केटिंग सहायता के कारण उत्पाद राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय बाजारों में पहुंच पाएंगे।

PMFME योजना के तहत वित्तीय सहायता का ढांचा

श्रेणीसहायता का प्रकारअधिकतम सीमा
व्यक्तिगत माइक्रो उद्यमपरियोजना लागत का 35% क्रेडिट लिंक्ड सब्सिडी₹10 लाख प्रति इकाई
SHGs / FPOs / सहकारी समितियाँपूंजीगत खर्च के लिए क्रेडिट लिंक्ड अनुदान₹3 करोड़ तक
SHGs सदस्यवर्किंग कैपिटल/छोटे उपकरण के लिए 40,000₹ तक फंड₹4 लाख प्रति समूह
मार्केटिंग और ब्रांडिंगव्यय का 50% तक सहायतायोजना अनुसार सीमित

यह वित्तीय सहायता खाद्य प्रसंस्करण इकाइयों को उनकी प्रतिस्पर्धा बढ़ाने में सहायता करती है और उनके विकास के लिए आवश्यक पूंजी उपलब्ध कराती है।

PM Micro Food Processing Enterprises Scheme| योजना के लिए पात्रता

  • यह योजना माइक्रो खाद्य प्रसंस्करण उद्योगों के लिए है जो खाद्य प्रसंस्करण के क्षेत्र में छोटे स्तर पर काम करते हैं।
  • लाभार्थी कोई भी व्यक्तिगत उद्यमी, FPO (किसान उत्पादक संगठन), SHG (स्व-सहायता समूह), सहकारी समिति या ODOP आधारित SPV हो सकते हैं।
  • परियोजना लागत क्षतिपूर्ति के लिए मान्य होनी चाहिए।
  • आवेदनकर्ता का खाद्य प्रसंस्करण क्षेत्र से संबंधित होना अनिवार्य है।

PMFME योजना में आवेदन कैसे करें?

  1. सबसे पहले आपको अपने राज्य के खाद्य प्रसंस्करण विभाग से संपर्क करना होगा या आधिकारिक PMFME पोर्टल (pmfme.mofpi.gov.in) पर जाएं।
  2. आवेदन के लिए आवश्यक दस्तावेज जैसे आधार कार्ड, बैंक खाता, उद्यम का विवरण, बस एक बार ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन करना होगा।
  3. योजना की पात्रता के अनुसार आवेदन पत्र भरते हुए सब्सिडी या अन्य वित्तीय सहायता के लिए आवेदन जमा करें।
  4. आपके आवेदन की जांच और समीक्षा के बाद आवश्यक सहायता प्रदान की जाएगी।
  5. योजना के तहत मिलने वाली आर्थिक सहायता सीधे आपके बैंक खाते में ट्रांसफर की जाएगी।

सरकार ने आवेदन प्रक्रिया को पूरी तरह से डिजिटल और सरल बनाया है ताकि लाभार्थियों को आवेदन करने में कोई परेशानी न हो।

PM Micro Food Processing Enterprises Scheme योजना की सफलता की कहानियाँ

भारत में कई छोटे खाद्य उद्यमी इस योजना की मदद से सफलतापूर्वक अपने व्यवसाय को विस्तारित कर सके हैं। उदाहरण के लिए, एक ग्रामीण महिला ने PMFME योजना के तहत सब्सिडी लेकर अपने फल प्रसंस्करण यूनिट की स्थापना की, जिससे उसकी आय दोगुनी हो गई।

इसके अतिरिक्त, कई किसान उत्पादक संगठन (FPOs) ने साझा प्रसंस्करण और भंडारण सुविधा प्राप्त करके अपने उत्पादों की गुणवत्ता और बाजार पहुंच में नाटकीय सुधार किया है।

PM Micro Food Processing Enterprises Scheme योजना का आर्थिक और सामाजिक प्रभाव

  • ग्रामीण आर्थिक विकास: अब छोटे उद्यमों को अच्छी तकनीक और पूंजी मिल रही है, जिससे ग्रामीण क्षेत्र में आर्थिक गतिविधियां बढ़ रही हैं।
  • रोजगार के अवसर: खाद्य प्रसंस्करण उद्योग द्वारा नए रोजगार सृजन से बेरोजगारी में कमी।
  • मुल्य श्रृंखला में सुधार: किसानों से उत्पाद लेने, संसाधित करने और बाजार में बेचने के पूरे चक्र को सुव्यवस्थित बनाया गया है।
  • स्वदेशी उत्पादन को बढ़ावा: Atmanirbhar Bharat के तहत स्थानीय खाद्य उत्पादों को बढ़ावा मिलता है।

FAQ :-

PM Micro Food Processing Enterprises Scheme (PMFME) क्या है?

यह योजना माइक्रो खाद्य प्रसंस्करण उद्यमों के औपचारिककरण और उनके विकास के लिए वित्तीय, तकनीकी और व्यवसायिक सहायता प्रदान करती है।

PM Micro Food Processing Enterprises Scheme योजना का उद्देश्य क्या है?

इसका उद्देश्य असंगठित खाद्य प्रसंस्करण क्षेत्र में काम कर रहे छोटे उद्यमों की प्रतिस्पर्धात्मकता बढ़ाना और रोजगार सृजन करना है।

क्या PM Micro Food Processing Enterprises Scheme योजना केवल व्यक्तिगत उद्यमियों के लिए है?

नहीं, यह योजना SHGs, FPOs, सहकारी समितियों और ODOP आधारित समूहों के लिए भी है।

PM Micro Food Processing Enterprises Scheme योजना में कितनी वित्तीय सहायता मिलती है?

परियोजना लागत का 35% या अधिकतम ₹10 लाख तक का क्रेडिट लिंक्ड सब्सिडी दिया जाता है।

क्या जमीन का खर्च परियोजना लागत में शामिल किया जा सकता है?

नहीं, जमीन का खर्च परियोजना लागत में शामिल नहीं माना जाता।

PM Micro Food Processing Enterprises Scheme योजना के तहत आवेदन कैसे करें?

आधिकारिक PMFME पोर्टल (pmfme.mofpi.gov.in) पर ऑनलाइन आवेदन करना होता है।

क्या PMFME योजना में प्रौद्योगिकी सहायता भी मिलेगी?

हाँ, योजना में तकनीकी प्रशिक्षण और व्यवसायिक सलाह भी प्रदान की जाती है।

क्या PMFME योजना में ब्रांडिंग और मार्केटिंग सहायता उपलब्ध है?

जी हाँ, ब्रांडिंग, पैकेजिंग और विपणन के लिए योजना के तहत सहायता मिलती है।

PM Micro Food Processing Enterprises Scheme योजना में कितने कर्मचारी होने चाहिए?

यह योजना ऐसे सूक्ष्म उद्यमों के लिए है जिनमें 10 से कम कर्मचारी कार्यरत हों।

PM Micro Food Processing Enterprises Scheme योजना के तहत कौन-कौन से खाद्य उत्पाद आते हैं?

फलों, सब्जियों, अनाज, दुग्ध उत्पाद, तिलहन, पशु आहार, बेकरी उत्पाद आदि के लिए यह योजना है।

क्या PM Micro Food Processing Enterprises Scheme योजना का लाभ लेने के लिए किसी न्यूनतम शैक्षिक योग्यता की आवश्यकता है?

आवेदक के लिए कम से कम आठवीं कक्षा उत्तीर्ण होना आवश्यक है।

क्या परिवार के एक से अधिक सदस्य PMFME योजना का लाभ ले सकते हैं?

नहीं, एक परिवार (स्वयं, पति/पत्नी और बच्चों सहित) का केवल एक सदस्य ही लाभार्थी हो सकता है।

PMFME योजना में ‘वन डिस्ट्रिक्ट वन प्रोडक्ट’ (ODOP) का क्या महत्व है?

ODOP के तहत प्रत्येक जिले की प्रमुख उत्पाद क्षमता को बढ़ावा दिया जाता है जिससे उत्पादन और विपणन बेहतर हो सके।

क्या PMFME योजना के साथ अन्य सरकारी योजनाओं का लाभ भी लिया जा सकता है?

हाँ, अन्य केंद्र या राज्य सरकार की योजनाओं के साथ इसका संयोजन संभव है।

सरकार किस माध्यम से योजना के प्रचार-प्रसार और प्रशिक्षण कार्य करती है?

सरकार जिला स्तरीय रसोर्स पर्सन्स (DRPs) नियुक्त करती है जो आवेदन प्रक्रिया और प्रशिक्षण में सहायता करते हैं।

क्या PMFME योजना के लिए बिजनेस प्लान तैयार करना आवश्यक है?

हाँ, आवेदन में परियोजना की योजना और व्यावसायिक विवरण देना आवश्यक होता है।

क्या PMFME योजना के तहत साझा संसाधनों का उपयोग किया जा सकता है

जी हाँ, साझे प्रसंस्करण केंद्र, भंडारण और पैकेजिंग सुविधाएँ उपलब्ध कराई जाती हैं।

PM Micro Food Processing Enterprises Scheme योजना की वित्तीय सहायता कब मिलती है?

आयोगित परियोजना के स्वीकृति के बाद सब्सिडी सीधे बैंक खाते में ट्रांसफर की जाती है।

PMFME योजना किस प्रकार के खाद्य प्रसंस्करण उद्यमों को प्राथमिकता देती है?

जो उद्यम ODOP में चयनित उत्पादों पर आधारित हैं, उन्हें प्राथमिकता दी जाती है।

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